पिघल पड़ा चूमने से तेरे बर्फ की तरह
बड़े दिनों बाद धुप खिली थी मुझपर
इजाजत हो तो जुबा खोल दू।
इश्क़ हैं तुमसे तुम्हें बोल दू।
खबर जाननी हैं मेरे जज्बात की
अखबार हू कहो तो खोल दू।
करीब ना होकर भी, हमेशा करीब पाओगें .. हमें ।
मैं वो, अहसास हूँ, जो सदा दिल मैं उतर जाता हूँ।।
गिला नही है कि तुम… मुझको समझ न सके,
शिकायत खुद से है कि जिन्दगी तेरे नाम कर दी…!!
वो मुझे एक बार मिली थी
न जाने कौन सी गाथा खिली थी
इश्क़ का जूनून सवार था
हम दोनों का बेडा पार था
है न मेरा ख्वाब खूबसूरत
जब भी तुम्हे देखा अपने साथ देखा
अगस्त में जो होगी वो बारिश हो तुम
मेरे प्यार के एक लोते वारिश हो तुम
मिल जाये अगर तेरे
साथ जीने के कुछ पल
बाकि की ज़िन्दगी मैं
अपनी खैरात करदु।
तकिये के निचे दबा
रखे है तुम्हारे ख्याल
एक तस्वीर बेपनह इश्क़ और
बहुत सारे सवाल
क्यों एक दिल दूसरे दिल की
खबर न हो
व दर्द ए इश्क़ ही क्या जो
इधर हो और उधर न हो
दूर रह कर भी हर रोज़
मुलकात में हूँ
मैं बड़े सुकून से तुम्हारे
ख्यालो में हूँ
मेरी ही तरह, मुझे वो भी बहुत उदास लगता है..
कोई रिश्ता तो नही उससे,,,
फिर भी वो बहुत खास लगता है..!!
चलो आज खामोश प्यार को
इक नाम दे दें,
अपनी मुहब्बत को
इक प्यारा अंज़ाम दे दें,
इससे पहले कहीं
रूठ न जाएँ मौसम अपने,
धड़कते हुए अरमानों को
एक सुरमई शाम दे दें ।
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दिल का ये ग़ुरूर भी तेरी वजह से है
ये इश्क का सुरूर भी तेरी वजह से है !!
मंजिल मिलने से दोस्ती भुलाई नहीं जातीं ;
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हमसफर मिलने के दोस्ती मिटाई नही जाती !
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दोस्तो की कमी हमेशा रहती है ;
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दूरियों से दोस्ती छुपायें नही जाती !!
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बादलों में छुप रहा है चाँद क्यों अपने हुस्न की शोखियों से पूछ लो
चांदनी पड़ी हुई है मंद क्यों अपनी ही किसी अदा से पूछ लो…
रुक रुक के आ रही है सांस….कोई बात होने वाली है….
या तो दूर जा चुका है कोई…या मुलाक़ात होने वाली है.!!
मुहब्बत ना बना मुझे, तू ना मिला तोअधूरी हो जाऊंगी
अपनी मजबूरी बना, हमेशा के लिये जरूरी हो जाऊंगी
भगवान् जब किसी अपने को हमारी जिंदगी से जोड़ना भूल जाता है तब वह उसे दोस्त बना कर हमे उससे जोड़ देता है…….
दोस्ती जिंदगी का सबसे खूबसूरत और अनमोल रिश्ता.
उम्र मत पूछो उनकी….
जो इश्क मै ड़ूबे रहते है….
वो हर वक्त जवां रहते है….
जो महबूब की आंखो में खोए रहते है….